दिल्ली चुनावों में आम आदमी पार्टी के गिरते प्रदर्शन पर अन्ना हजारे ने कड़ी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि एक राजनेता का आचरण, विचार और जीवन निष्कलंक होना चाहिए। मैंने केजरीवाल को पहले भी समझाया था कि जनता का विश्वास बनाए रखने के लिए नैतिकता सबसे जरूरी है, लेकिन उन्होंने इस पर ध्यान नहीं दिया।
अन्ना हजारे ने केजरीवाल सरकार की शराब नीति पर भी कटाक्ष किया। उन्होंने कहा कि सत्ता का दुरुपयोग और नैतिक मूल्यों की अनदेखी करने से जनता का विश्वास टूट जाता है। उनका मानना है कि अगर कोई उम्मीदवार त्याग, ईमानदारी और जनता की सेवा के मूल्यों को अपनाता है, तो मतदाता खुद ही उसे स्वीकार कर लेते हैं।