Dengue Statistics: हरियाणा के अंबाला जिले में डेंगू का प्रकोप तेजी से बढ़ रहा है। सोमवार को तीन नए मामलों की पुष्टि हुई, जिससे मरीजों की संख्या 35 तक पहुँच गई है। डेंगू के गंभीर मरीजों को सिंगल डोनर प्लेटलेट (एसडीपी) की आवश्यकता होती है। लेकिन स्वास्थ्य विभाग के पास एफेरेसिस मशीनें नहीं हैं, जो इन प्लेटलेट्स को इकट्ठा करने के लिए जरूरी हैं।
मुख्यालय की ओर से अंबाला कैंट और सिटी के लिए एफेरेसिस मशीनें खरीदने की प्रक्रिया शुरू की गई थी, लेकिन यह अभी भी अधर में है। ऐसे में मरीजों को प्लेटलेट्स के लिए मुलाना मेडिकल कॉलेज, संजीवनी अस्पताल या हीलिंग टच अस्पताल जाना पड़ता है। स्वास्थ्य विभाग नागरिक अस्पतालों में दाखिल मरीजों के लिए एसडीपी की व्यवस्था कर रहा है। अब तक दो मरीजों के लिए यह व्यवस्था की गई है, जिसके लिए 22,000 रुपये का भुगतान किया गया है।
डेंगू के मरीजों के प्लेटलेट्स तेजी से गिरते हैं। अगर नागरिक अस्पतालों में एफेरेसिस मशीनें होतीं, तो मरीजों को निजी अस्पतालों पर निर्भर नहीं रहना पड़ता। वर्तमान में अंबाला कैंट नागरिक अस्पताल में केवल आरडीपी की सुविधा उपलब्ध है, जिसमें एक मरीज को केवल 1,000 से 5,000 प्लेटलेट्स मिल पाती हैं। ऐसे में गंभीर मरीजों को 50,000 प्लेटलेट्स के लिए कई ब्लड डोनर की आवश्यकता होती है।
डॉ. सुनील हरि, महामारी नियंत्रक अधिकारी, ने बताया कि विभाग जरूरत पड़ने पर मरीजों के लिए एसडीपी उपलब्ध कराने का दावा कर रहा है। इस समस्या का समाधान जल्द होना जरूरी है ताकि डेंगू मरीजों को सही समय पर इलाज मिल सके।
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