Inkhabar Haryana, Kurukshetra News: टेक्नोलॉजी और नवाचार के क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल करते हुए, कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय (KU) के यूआईईटी संस्थान के 32 विद्यार्थियों ने मिलकर एक इलेक्ट्रिक व्हीकल (EV) तैयार किया है। खास बात यह है कि इस इलेक्ट्रिक व्हीकल को बनाने में मात्र 1 लाख रुपये का खर्च आया। विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. सोमनाथ सचदेवा ने इस उपलब्धि पर छात्रों की सराहना की और इसे ग्रीन एनर्जी तथा पर्यावरण संरक्षण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बताया।
EV ग्रीन एनर्जी की ओर हैं बड़ा कदम
विश्वविद्यालय में आयोजित एक विशेष कार्यक्रम में कुलपति सोमनाथ सचदेवा ने विद्यार्थियों द्वारा निर्मित इलेक्ट्रिक व्हीकल का निरीक्षण किया। उन्होंने कहा कि इलेक्ट्रिक व्हीकल तकनीक न केवल ऊर्जा बचाने में सहायक है, बल्कि पर्यावरण संरक्षण में भी इसकी अहम भूमिका है। वर्तमान समय में भारत सरकार 2030 तक पेट्रोल और डीजल वाहनों को चरणबद्ध तरीके से हटाने की योजना बना रही है, जिससे ईवी वाहनों की मांग लगातार बढ़ रही है।
छात्रों की मेहनत और अनुभव
इस प्रोजेक्ट में UIET संस्थान के 32 छात्रों ने मिलकर काम किया और सीमित संसाधनों के बावजूद उच्च गुणवत्ता वाला इलेक्ट्रिक व्हीकल तैयार किया। इस पहल ने यह साबित कर दिया कि यदि सही मार्गदर्शन और समर्पण हो तो कम लागत में भी उत्कृष्ट नवाचार संभव है। UIET संस्थान के निदेशक सुनील धींगड़ा ने भी छात्रों की सराहना करते हुए कहा कि यह प्रोजेक्ट छात्रों की तकनीकी क्षमताओं और नवाचार के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
इस प्रोजेक्ट में शामिल छात्रों ने बताया कि उन्हें इस प्रोजेक्ट से व्यावहारिक ज्ञान प्राप्त हुआ, जो उनकी भविष्य की संभावनाओं को और अधिक सशक्त बनाएगा। उन्होंने कहा कि ईवी तकनीक पर काम करना एक शानदार अनुभव रहा और वे भविष्य में भी इस दिशा में और बेहतर प्रोजेक्ट्स पर काम करना चाहते हैं। कुलपति प्रो. सोमनाथ सचदेवा ने कहा कि प्रौद्योगिकी क्षेत्र में नवाचार विकसित भारत का आधार है। छात्रों द्वारा तैयार किया गया यह ईवी व्हीकल इस बात का प्रमाण है कि भारतीय युवा तकनीकी नवाचार में किसी से पीछे नहीं हैं।
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