Ram Rahim: हरियाणा के डेरा प्रमुख राम रहीम, जो कई गंभीर मामलों में सजा काट रहे हैं, ने 20 दिन की आपात पैरोल पर बाहर रहने के बाद फिर से सुनारिया जेल में प्रवेश किया। यह उसकी आठवीं बार पैरोल लेने का मामला है। राम रहीम ने 2 अक्टूबर को पैरोल प्राप्त की थी, जो विधानसभा चुनाव से पहले की गई थी। पैरोल के दौरान, राम रहीम के ऊपर कुछ शर्तें थीं। उसे हरियाणा में मतदान से पहले नहीं रहना था, सोशल मीडिया पर संदेश नहीं भेजने थे और राजनीति गतिविधियों में शामिल नहीं होना था। सरकार ने चुनाव आयोग से विशेष अनुमति मांगी थी, जिसे शर्तों के साथ मंजूरी मिली।
राम रहीम सुबह 6:34 बजे अपने आश्रम से निकला और दोपहर में अपनी वापसी का समय 23 अक्टूबर को शाम 5 बजे निर्धारित था। लेकिन, वह समय से पहले ही, यानी शाम 4:55 बजे, जेल पहुंच गया। उसके साथ हनीप्रीत और अन्य छह लोग भी थे। सुनारिया जेल के अधीक्षक सत्यवान ने बताया कि राम रहीम ने जेल में प्रवेश करने का अंतिम समय 5 बजे का था, लेकिन वह चार मिनट पहले ही जेल पहुंच गया था। इससे यह साफ होता है कि राम रहीम ने निर्धारित समय से पहले ही अपनी वापसी की।
इस घटनाक्रम ने फिर से चर्चा को जन्म दिया है, क्योंकि कई लोग यह सोच रहे हैं कि राम रहीम की पैरोल और उसकी वापसी का असर आगामी विधानसभा चुनावों पर पड़ सकता है। चुनावों के समय में ऐसी घटनाएँ राजनीतिक माहौल को प्रभावित कर सकती हैं।