नीम का पेड़ अपनी कड़वाहट के लिए जाना जाता है, लेकिन यहां से निकलने वाले सफेद तरल को ग्रामीण नारियल के पानी जैसा स्वादिष्ट बता रहे हैं। इस रहस्यमयी तरल को लेकर लोग बोतलों में भरकर अपने घर तक ले जा रहे हैं और इसे औषधीय गुणों से भरपूर मानकर सेवन कर रहे हैं। सोशल मीडिया पर इस घटना के वायरल होने के बाद आस-पास के गांवों से भी लोग इसे देखने के लिए आ रहे हैं। जांच के लिए पहुंची टीम ने इस सफेद तरल का सैंपल इकट्ठा किया है और ग्रामीणों से अपील की है कि वे किसी भी तरह के अंधविश्वास में न पड़ें। टीम के अनुसार, यह कोई चमत्कार नहीं बल्कि किसी जैविक या प्राकृतिक प्रक्रिया का परिणाम हो सकता है।
गांव के सत्यवान ने बताया कि करीब एक महीने से यह सफेद तरल निकल रहा है। इसे देखने और घर ले जाने के लिए आसपास के गांवों से लोग आ रहे हैं। वैज्ञानिक टीम भी आई थी और सैंपल लेकर गई है, लेकिन अभी तक कुछ स्पष्ट नहीं कहा जा सकता। वहीं, बन्नी सिंह ने इसे कुदरत की देन बताते हुए कहा कि करीब दो महीने से यह घटना हो रही है। सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद दूर-दराज से लोग आने लगे हैं। कई लोग इसे बाबा रथपूरी का चमत्कार मान रहे हैं और बीमारियों के इलाज के लिए इसका सेवन कर रहे हैं। मेरे भाई को सिरदर्द था, तरल पीने के बाद उसे आराम मिला। राजपाल काब्रच्छा नामक एक अन्य ग्रामीण ने कहा कि तारखा गांव में भी यह चर्चा हो रही है कि यह सफेद तरल नारियल पानी की तरह है। लोग इसे एक चमत्कार मान रहे हैं।
हालांकि, विशेषज्ञों का मानना है कि नीम के पेड़ से किसी तरल का निकलना असामान्य हो सकता है, लेकिन इसे चमत्कार मान लेना जल्दबाजी होगी। यह किसी जैविक परिवर्तन, पेड़ के अंदरूनी संक्रमण या अन्य प्राकृतिक कारणों से हो सकता है। वैज्ञानिक जांच के बाद ही इसकी सटीक वजह सामने आ पाएगी।